कानपुर हटिया होली गंगा मेला आगामी 2 अप्रैल दिन शुक्रवार को अपनी पूरी भव्यता के साथ मनाया जाएगा इस संबंध में आज एक पत्रकार वार्ता बिराहाना रोड़ खत्री धर्मशाला मे आयोजित की गई। पत्रकार वार्ता को संबोधित करते हुए सयोजक. ज्ञानेन्द्र विश्नोई ने बताया देश आजाद हुआ सन 1947 में लेकिन कानपुर वासियों ने आजादी का जश्न मनाया सन 1942 में कानपुर का गंगा मेला देश की आजादी की याद दिलाता है सन 1942 में अंग्रेजी हुकूमत ने होली खेलने में पाबंदी लगा दी थी हटिया वासियों ने अंग्रेजों की पाबंदी को तोड़ते हुए हटिया रज्जन बाबू पार्क मे क्षेत्रीय नवयुवक बाबू गुलाब चंद सेठ के नेतृत्व में इकट्ठा हुए और तिरंगा फहराकर भारत माता की जय,हम आजाद है, के जयघोष के साथ तिरंगा झंडा फहराने के बाद रंग खेलना प्रारम्भ किया रंग खेल रहे सभी लोगों को गिरफ्तार करके जेल में डाल दिया गया इसकी प्रतिक्रिया के प्रति स्वरूप देश की आजादी के लिये पूरे शहर में भयंकर होली खेली गई और ऐलान किया गया कि जब तक युवक नही छोड़े जाएंगे निरंतर होली खेली जायेगी। शहर में कई दिनों तक रंग चला।अतः ब्रिटिश सरकार को झुकना पड़ा और गिरफ्तार युवकों को छोड़ना पड़ा संयोगवश जिस दिन बंदी छोड़े गए उसी दिन अनुराधा नक्षत्र था तभी से कानपुर मे होली का समापन गंगा मेले अनुराधा नक्षत्र को होने लगा इस वर्ष गंगा मेला अपनी 80 वीं वर्षगांठ मनाएगा जबकि देश आजादी की 75 वर्षगांठ मना रहा है। होली मेले का शुभारंभ प्रातः 9:45 बजे कानपुर के जिलाधिकारी एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक तिरंगा झंडा फहराने के बाद पुलिस बैन्ड द्वारा राष्ट्रीय धुन बजाने के बाद क्रांतिकारीयो के शिलालेख पर पुष्पांजलि करके रंग ठेले का शुभारंभ करेंगे। रंग ठेला अपने पूर्वनिधारित मार्गों से होता हुआ पुनः रज्जन बाबू पार्क में आकर पूर्ण विश्राम लेगा। साय 5:30 बजे बच्चों के लिए बाल मेले का आयोजन किया जाएगा पत्रकार वार्ता में संरक्षक मूलचंद सेठ संयोजक ज्ञानेंद्र विश्नोई, विनय सिंह,राम औतार गुप्ता उपस्थित रहे।
2 अप्रैल को मनाया जाएगा हटिया होली गंगा मेला


















